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नगरनार स्टील प्लांट के NMDC से अलग होने की प्रक्रिया अगस्त-सितंबर तक पूरी होने की उम्मीद

नयी दिल्ली. सार्वजनिक क्षेत्र की एनएमडीसी की छत्तीसगढ़ में स्थित इकाई नगरनार स्टील प्लांट (एनएसपी) को अलग कंपनी बनाया जाएगा और इस संदर्भ में प्रक्रिया अगस्त तक पूरी हो जाने की उम्मीद है. एक सूत्र ने यह जानकारी दी.

नगरनार स्टील प्लांट की क्षमता 30 लाख टन सालाना है. इस एकीकृत इस्पात संयंत्र की स्थापना देश की सबसे बड़ी लौह अयस्क खनन कंपनी एनएमडीसी ने छत्तीसगढ़ में बस्तर जिले के नगरनार में की है. संयंत्र की स्थापना 1,980 एकड़ से अधिक क्षेत्र में 23,140 करोड़ रुपये के संशोधित अनुमानित निवेश से किया गया है.

सूत्र ने कहा कि संयंत्र को कंपनी से अलग करने और उसे अलग इकाई बनाने की प्रक्रिया जारी है और इसके अगस्त-सितंबर 2021 तक पूरी होने की उम्मीद है. एक सवाल के जवाब में उसने कहा, ‘‘अलग इकाई के रूप में स्थापित करने के लिये सेबी (भारतीय प्रतिभूति एवं विनिमय बोर्ड) समेत विभिन्न नियामकीय मंजूरी जरूरी है. इसके लिये कॉरपोरेट कार्य मंत्रालय से भी मंजूरी लेने की जरूरत है.’’

एनएमडीसी ने अगस्त 2020 में सूचित किया था कि उसके निदेशक मंडल ने नगरनार में इस्पात संयंत्र के अलग करने के प्रस्ताव को मंजूरी दे दी है. उसके बाद अक्टूबर में केंद्रीय मंत्रिमंडल ने भी एनएमडसी से संयंत्र को अलग करने तथा केंद्र की पूरी हिस्सेदारी रणनीतिक भागीदारी को बेचकर उसमें रणनीति विनिवेश करने को मंजूरी दे दी.’’ सरकार ने कहा था कि एनएमडीसी से अलग होने के बाद यह अलग कंपनी होगी.

Patrika Look

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