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लाल, पिला, नीला रंगों से ना भीगेंगी चुनरियां, ना चढ़ेगा लोगों के चेहरे पर रंग, रंगों के त्यौहार पर भारी पड़ा कोरोना संक्रमण का असर

कोंडागांव। कोरोना संक्रमण के मद्देनजर जिले में धारा 144 प्रभाव सील होने के कारण आम लोगों ने भी घरों में रहकर होली मनाने की ठानी है। जिसका व्यापक असर होली कारोबार पर पड़ा है। आम नागरिकों से ज्यादा व्यापारी परेशान है। व्यापारियों ने कहा इस बार 25% भी कारोबार नही हुआ है। जिले में लगातार कोरोना वायरस संक्रमित मरीज मिलने के बाद जिला प्रशासन ने दिशा निर्देश जारी कर सार्वजनिक स्थानों पर किसी प्रकार के कार्यक्रम आयोजित करने व होली मिलन जैसे सार्वजनिक आयोजनों पर प्रतिबंध है ।जिसका असर बाजार में देखने को मिल रहा है।

श्रेयांश जैन स्थानीय व्यसायिक

रंग गुलाल कारोबारियों को उम्मीद थी कि पिछले साल की अपेक्षा इस बार अच्छा कारोबार होगा। लेकिन इस बार भी मायूसी ही हाथ लगी। पिछले तीन दिनों से बाजारों में रंगों की दुकाने तो सजी है, लेकिन खरीदार नहीं मिल रहे है। दुकानदार श्रेयांश जैन ने कहा कि पिछले साल की तरह इस बार भी नुकसान हुआ है। दुकानदारों ने बताया कि पिछली बार सामान बिका नहीं था, एक समय दुकान के सामने चलने की जगह नहीं रहती थी, आज रविवार बाजार का दिन होने के बाद दुकान में ग्राहक नहीं पहुंच रहे। दो से तीन लाख रुपए हमने व्यापार में लगाया है, सभी व्यापारियों के सामने अब बैंक की राशि पटाना की मुश्किल है।

रंगों व पिचकारी के दामों में बढ़ोतरी
कोरोना का रंग गुलाल कारोबार पर काफी प्रभाव पड़ा है। रंग व पिचकारी के दामों में 10 से लेकर 20 फीसद तक बढ़ोतरी है। इस तरह की मंदी उन्होंने पहले कभी नहीं देखा था। कुछ लोग कोरोना वायरस को लेकर होली नहीं बना रहे हैं। इस बार तो सामान पड़ा है उसे बेचना भी मुश्किल होगा।

वहीं आम लोगो का कहना है जीवन सुरक्षित रहेगी तो त्यौहार हर वर्ष मनाएंगे,वर्तमान में कोरोना संक्रमण से बचाव करना जरूरी है, हम घर पर ही रहकर होली मनाएंगे।व आस पड़ोस के अन्य लोगों को कोरोना संक्रमण से बचाव के नियमों मास्क का उपयोग, दूरी का पालन करते हुए सुरक्षित होली मनाने जागरूक करें।

Patrika Look

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