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समाज कल्याण मंत्री श्रीमती भेंड़िया की अध्यक्षता में नशा मुक्त छत्तीसगढ़ बनाने लिया गया संकल्प

महात्मा गांधी की पुण्य तिथि के अवसर पर नशामुक्ति के लिए लोगों ने ली शपथ

रायपुर.

राष्ट्रपिता महात्मा गांधी की पुण्यतिथि के अवसर पर समाज कल्याण मंत्री तथा छत्तीसगढ़ योग आयोग की अध्यक्ष श्रीमती अनिला भेंड़िया की अध्यक्षता में रायपुर के कलेक्टोरेट उद्यान परिसर में शनिवार 30 जनवरी को सुबह 8 बजे नशामुक्ति संकल्प एवं शपथ दिवस का आयोजन किया गया। इस अवसर पर श्रीमती भेंड़िया ने नशामुक्त छत्तीसगढ़ बनाने का आव्हान किया और जनसामान्य तथा अधिकारी- कर्मचारियों को नशामुक्ति के लिए शपथ दिलाई। छत्तीसगढ़ योग आयोग के फेसबुक लाईव के माध्यम से रायपुर के बाहर निवासरत योग साधक एवं जनसामान्य द्वारा आनलाइन संकल्प एवं शपथ लिया गया। कार्यक्रम का आयोजन छत्तीसगढ़ योग आयोग और समाज कल्याण विभाग के रायपुर जिला कार्यालय के संयुक्त तत्वावधान में नशापान करने की प्रवृत्ति पर प्रभावी नियंत्रण और नशामुक्ति के पक्ष में जनमत विकसित करने के उद्देश्य से किया गया।

श्रीमती भेंड़िया ने महात्मा गांधी की प्रतिमा पर माल्यार्पण कर उन्हें श्रद्धांजलि अर्पित की और दीप प्रज्ज्वलन कर कार्यक्रम का शुभारंभ किया। इसके बाद राज्यगीत ’अरपा पैरी के धार…..’, रामधुन और नशामुक्ति के गीतो के साथ नशामुक्ति कार्यक्रम की शुरूआत हुई। इस अवसर पर श्रीमती भेंड़िया ने छत्तीसगढ़ योग आयोग के सक्रिय 55 नशामुक्ति योग दूतों को प्रशंसा प्रमाण-पत्र प्रदान किया। उन्होंने राष्ट्रीय प्राकृतिक चिकित्सा संस्थान की पुस्तिका ’महात्मा गांधी और प्राकृतिक चिकित्सा’ का भी अनावरण किया। इस अवसर पर श्रीमती भेंड़िया ने लोगों को नशामुक्ति के लिए जागरूक करने रथ को हरी झंडी दिखाकर रवाना किया।

श्रीमती भेंड़िया ने कहा कि महात्मा गांधी का विचार था कि भारत देश स्वच्छ,सुंदर और नशामुक्त हो। आज देश स्वच्छता की दिशा में आगे बढ़ रहा है, इसे हमें नशामुक्ति की ओर आगे बढ़ाना है। छत्तीसगढ़ में मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल के संकल्प के अनुसार समाज कल्याण विभाग नशामुक्ति के लिए काम कर रहा है। विभाग सभी वर्गो के लोगों के जीवन में आसानी के लिए कई योजनाएं संचालित करता है, इसका एक हिस्सा नशामुक्ति भी है। नशे में आज हर वर्ग के लोगों को जकड़ कर रखा है, जिसमें ज्यादातर नौजवान है। हम योग, गीत, कविता, नाटक के माध्यम से लोगों को नशे से दूर रहने के लिए जागरूक करने और इसके दुष्परिणामों को समझाने की कोशिश कर रहे हैं।

श्रीमती भेंड़िया ने कहा कि योग प्राचीन काल से मानसिक और शारीरिक परेशानियों से बाहर निकलने के लिए एक महत्वपूर्ण माध्यम है। कोरोना संक्रमण के कारण बंद हुआ निःशुल्क योग प्रशिक्षण विभाग द्वारा जिला कलेक्ट्रेट रायपुर के गार्डन में एक फरवरी से फिर से प्रारंभ किया जाएगा। हम 10 जिलों से नशामुक्ति अभियान शुरू करने जा रहे हैं। इसके तहत ब्लॉक स्तर से होते हुए धीरे-धीरे पंचायतों के साथ मिलकर काम किया जाएगा। मेरा विश्वास है कि इसके अच्छे परिणाम सामने आएंगे। नशे से पूरा परिवार बिखरता है। नशामुक्ति अभियान से जुड़कर महिलाएं अपने आस पड़ोस के परिवार को नशामुक्ति के लिए समझा ले तो, इससे बहुत फर्क पड़ेगा और हम नशामुक्त गढ़बो नवा छत्तीसगढ़ के सपना पूरा कर सकेंगे।
संचालक श्री पी.दयानंद ने कहा कि देश में हर साल 5 प्रतिशत लोगों की मौत शराब पीने से हो जाती है। एक प्रतिशत लोग तम्बाखू और अन्य नशे करते हैं। हमें लोगों को जागरूक कर मांग और आपूर्ति की कड़ी को तोड़ना है। इसके लिए विभाग ने रोड मैप तैयार किया है। हम भारतमाता वाहिनी और योग आयोग के सहयोग से ग्राम से राज्य तक समन्वित प्रयासों के साथ नशामुक्ति के लिए कार्य करने जा रहे हैं। संभाग स्तर पर रायपुर, दुर्ग और सूरजपुर में नशामुक्ति पुनर्वास केन्द्र शुरू किए गए हैं। आगे हर जिला मुख्यालय में नशामुक्ति पुनर्वास केन्द्र खोलने की योजना है।
कलेक्टर श्री एस.भारतीदासन ने कहा कि समाज और परिवार में ज्यादातर समस्या नशे के कारण होती है। तकनीकी विकास के दौर में नशीले पदार्थों को भी खुला बाजार मिला है। इसका असर छोटे से लेकर बड़ो तक दिखाई देता है। नशामुक्ति के संदेश देकर यदि हमें एक परिवार को पीड़ा से मुक्त कर सके, तो वह मानवता की सच्ची सेवा होगी। इस अवसर पर विभागीय अधिकारी-कर्मचारी, सामाजिक कार्यकर्ता, संस्थाओं के प्रतिनिधि और नागरिक उपस्थित थेे।
कार्यक्रम में कोरोना वायरस (कोविड-19) के संक्रमण की रोकथाम के लिये भारत सरकार एवं छत्तीसगढ़ शासन द्वारा जारी दिशा-निर्देशों का पालन किया गया तथा नशापान से होने वाले दुष्परिणामों को फ्लैक्स के माध्यम से प्रदर्शित कर जनसामान्य को नशामुक्ति के लिये जागरूक किया गया।

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